रिपोर्ट्स के मुताबिक, इंडोनेशियाई संसद ने संशोधनों का एक मसौदा तैयार किया है जिसमें विवाहेत्तर, लिव-इन और समलैंगिक संबंधों पर प्रतिबंध की बात कही गई है। दुनिया में सर्वाधिक मुस्लिम आबादी वाले देश (इंडोनेशिया) में अधिकतर दल इस मसौदे का समर्थन कर रहे हैं। मानवाधिकार कार्यकर्ताओं के अनुसार, इस कानून के चलते एलजीबीटी समुदाय को निशाना बनाया जा सकता है।